स्ट्रोक (लकवा) क्या है? लक्षण, इलाज और बचाव — एक पूरी जानकारी
MEDAZ Hospital, Patna – न्यूरो और ट्रॉमा के लिए भरोसेमंद अस्पताल
स्ट्रोक, जिसे आम ज़ुबान में लकवा या ब्रेन अटैक कहा जाता है, एक ऐसी गंभीर हालत है जिसमें दिमाग़ को खून पहुंचना बंद हो जाता है। ये अचानक होता है और अगर सही समय पर इलाज न मिले तो जानलेवा हो सकता है या इंसान को ज़िंदगी भर के लिए अपाहिज बना सकता है।
भारत में हर साल लाखों लोग इस बीमारी से प्रभावित होते हैं।
MEDAZ Hospital, Patna में हमारा मक़सद है —
लोगों को जानकारी देना, जल्दी पहचान करना सिखाना, और सही इलाज की दिशा में मदद करना।
स्ट्रोक के लक्षण क्या हैं?
स्ट्रोक का पता लगाने के लिए आसान तरीका है — BE FAST नियम:
स्ट्रोक के लक्षण क्या हैं?
स्ट्रोक का पता लगाने के लिए आसान तरीका है — BE FAST नियम:
- B – Balance (संतुलन): अचानक चक्कर आना या चलने में परेशानी
- E – Eyes (आंखें): एक या दोनों आंखों से धुंधला दिखना
- F – Face (चेहरा): चेहरा टेढ़ा होना, खासकर एक तरफ
- A – Arms (हाथ): एक हाथ में कमजोरी या सुन होना
- S – Speech (बोलना): बात करते वक़्त शब्द बिगड़ जाना या न बोल पाना
- T – Time (समय): एक पल भी बर्बाद न करें — तुरंत अस्पताल ले जाएं
ध्यान रहे — हर मिनट की देरी में लाखों दिमाग़ी कोशिकाएं नष्ट हो जाती हैं।
स्ट्रोक के प्रकार
- इस्केमिक स्ट्रोक – खून की नली में थक्का जम जाने से (सबसे ज़्यादा यही होता है)
- हेमरेजिक स्ट्रोक – दिमाग़ की नस फटने से खून बहने लगे
- टी.आई.ए (Transient Ischemic Attack) – जिसे आम भाषा में मिनी स्ट्रोक कहते हैं, कुछ देर का असर होता है लेकिन ख़तरा बड़ा हो सकता है
स्ट्रोक का इलाज कैसे होता है?
MEDAZ Hospital में स्ट्रोक के इलाज के लिए आधुनिक और तेज़ सिस्टम उपलब्ध है:
- थक्का घोलने वाली दवाइयाँ (tPA) — अगर 4.5 घंटे के अंदर मरीज पहुंचे ( गोल्डन ऑवर)
- थ्रॉम्बेक्टॉमी — खून का थक्का निकालना
- आईसीयू केयर — ऑक्सीजन, ब्लड प्रेशर कंट्रोल, मॉनिटरिंग
- रिकवरी थैरेपी — बोलने, चलने और याददाश्त की वापसी के लिए थेरेपी
हमारा फोकस होता है — गोल्डन ऑवर के अंदर इलाज शुरू कर देना।
बचाव कैसे करें?
स्ट्रोक को पूरी तरह टाला नहीं जा सकता, लेकिन बचाव ज़रूर किया जा सकता है:
- ब्लड प्रेशर कंट्रोल रखें
- शुगर और कोलेस्ट्रॉल नियंत्रित करें
- धूम्रपान और शराब से दूरी बनाएँ
- रोज़ाना वॉक या हल्की एक्सरसाइज करें
- नमक और जंक फूड कम खाएं
- अगर दिल की धड़कन अनियमित हो (AFib) तो डॉक्टर से जांच कराएं
क्यों MEDAZ Hospital सबसे बेहतर विकल्प है?
- 24×7 इमरजेंसी स्ट्रोक केयर यूनिट
- अत्याधुनिक सीटी स्कैन
- अनुभवी न्यूरोलॉजिस्ट, न्यूरोसर्जन , और क्रिटिकल केयर टीम
- पोस्ट–स्ट्रोक पुनर्वास सहित फिजियोथेरेपी और स्पीच थैरेपी
अकसर पूछे जाने वाले सवाल (FAQs)
प्र. 1: स्ट्रोक के लक्षण क्या हैं?
चेहरा टेढ़ा होना, हाथ–पैर का सुन पड़ना, बोलने में दिक्कत — ये सभी लक्षण स्ट्रोक के हो सकते हैं। BE FAST नियम याद रखें।
प्र. 2: क्या स्ट्रोक का इलाज संभव है?
हाँ, अगर समय रहते अस्पताल पहुंचा जाए — तो दवाओं और तकनीक से पूरी तरह ठीक भी किया जा सकता है।
प्र. 3: मिनी स्ट्रोक क्या होता है?
मिनी स्ट्रोक यानी TIA – जो थोड़ी देर में ठीक हो जाता है, लेकिन इसका मतलब है कि असली स्ट्रोक का ख़तरा बढ़ चुका है।
प्र. 4: MEDAZ में स्ट्रोक के बाद की थेरेपी मिलती है?
हाँ। फिजियोथेरेपी, स्पीच थेरेपी और मानसिक सहारा — सब कुछ दिया जाता है।
प्र. 5: क्या ये बीमारी घर के किसी भी सदस्य को हो सकती है?
हाँ, खासकर अगर ब्लड प्रेशर, शुगर, दिल की बीमारी, या स्ट्रेस हो — तो सभी उम्र के लोग इससे प्रभावित हो सकते हैं।
आखिरी बात
स्ट्रोक जानलेवा तो है, लेकिन समय रहते इलाज मिले तो जान भी बचाई जा सकती है और ज़िंदगी भी।
MEDAZ Hospital, Patna, bihar में हर वक़्त तैयार न्यूरो टीम, आधुनिक मशीनें और अनुभवी डॉक्टर आपके सेवा में हैं।
अगर किसी को लक्षण दिखें — तुरंत संपर्क करें।
𝐄𝐧𝐪𝐮𝐢𝐫𝐲 & 𝐀𝐩𝐩𝐨𝐢𝐧𝐭𝐦𝐞𝐧𝐭 : 𝟎𝟗𝟏𝟏𝟕𝟔 𝟎𝟎𝟔𝟎𝟎
𝐄𝐦𝐞𝐫𝐠𝐞𝐧𝐜𝐲 𝐚𝐧𝐝 𝐀𝐦𝐛𝐮𝐥𝐚𝐧𝐜𝐞: 𝟎𝟗𝟏𝟏𝟕𝟓𝟎𝟎 𝟓𝟎𝟎
𝐰𝐞𝐛𝐬𝐢𝐭𝐞 – https://medazhospital.com/best-neurology-hospital-patna/
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